आचार्य प्रतिभा विकास वर्ग का शुभारंभ
भागलपुर, 9 दिसंबर। गणपत राय सलारपुरिया सरस्वती विद्या मंदिर नरगाकोठी के प्रांगण में शुक्रवार को भागलपुर विभाग के आचार्य का आचार्य प्रतिभा विकास वर्ग भारतीय शिक्षा समिति के तत्वावधान में प्रारंभ हुई। कार्यक्रम का प्रारंभ भागलपुर विभाग के विभाग संयोजक लक्ष्मीनारायण डोकानिया, विद्या भारती उत्तर पूर्व क्षेत्र के क्षेत्रीय संगठन मंत्री ख्याली राम, दक्षिण बिहार सह प्रांत प्रचारक उमेश रंजन, विभाग प्रमुख विनोद कुमार एवं प्रधानाचार्य नीरज कुमार कौशिक द्वारा संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलित कर किया गया।
क्षेत्रीय संगठन मंत्री ख्यालीराम ने कहा कि अपनी दिनचर्या संघ अनुकूल होनी चाहिए। सबको शाखा अवश्य जानी चाहिए हमारा मूल राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ है। हम मूल से अलग नहीं हो सकते हैं। उन्होंने स्वभाषा का विकास, मातृ भाषा के विकास को आवश्यक बताया। अपनी वेशभूषा भारतीयता से युक्त होनी चाहिए तथा जन्मदिन के अवसर पर केक एवं मोमबत्ती का प्रयोग न करें त्योहारों में भारतीय संस्कृति से युक्त वेशभूषा हो। हमारे अंदर समरसता का भाव हो।
दक्षिण बिहार के सह प्रांत प्रचारक उमेश रंजन ने कहा कि मैं कैसे अच्छा बनू यह सोचने का विषय है। अच्छा बनकर समाज एवं देश के कल्याण में कैसे हमारा सहयोग हो इसे विचार करना है। व्यक्ति निर्माण के साथ राष्ट्र निर्माण ही विद्या भारती का मुख्य उद्देश्य है। यदि देश को श्रेष्ठ बनाना चाहते हैं तो श्रेष्ठ बालक एवं श्रेष्ठ समाज का निर्माण आवश्यक है।
आचार्य प्रतिभा विकास वर्ग के प्रस्तावना को प्रस्तुत करते हुए विनोद कुमार ने कहा कि विभागीय आचार्य प्रतिभा विकास वर्ग के क्रम में अपने अच्छाइयों एवं खामियों के जानने के साथ-साथ एक दूसरे के अनुभव से सीखने का अवसर प्राप्त होने का यह अवसर है। संघ अनुसार हमारी दिनचर्या, आदर्श आचार्य की सोच, पंचकोशी विकास, पंचपदी के माध्यम से अध्यापन इस विकास वर्ग का मुख्य उद्देश्य है। छात्रों एवं आचार्य का तथा समाज के सर्वांगीण विकास हेतु चिंतन मनन का यह अवसर प्राप्त हुआ है।
अध्यक्षीय आशीर्वचन करते हुए विभाग संयोजक लक्ष्मीनारायण डोकानिया ने कहा कि मुख्य रूप से यह कार्यक्रम बालकों के विकास के लिए है। मंच संचालन नालंदा विभाग के विभाग प्रमुख राकेश नारायण अंबष्ट द्वारा एवं अतिथि परिचय विद्यालय के प्रधानाचार्य नीरज कुमार कौशिक द्वारा किया गया।