बिहार

आरटीआई कार्यकर्त्ता ने कृषि विभाग में फर्जी अनुभव प्रमाण पत्र पर बहाली का लगाया आरोप

– कहा आरटीआई से मांगी गई सूचना अब तक उप्लब्ध नहीं

-मुजफ्फरपुर संयुक्त निदेशक के यहां की गई अपील भी ठंडे बस्ते में

मोतिहारी,17अगस्त। जिला कृषि विभाग मे फर्जी प्रमाण पत्र के आधार पर बीते वर्ष 2014-15 में लेखापाल के पद पर बहाली होने का आरोप आरटीआई कार्यकर्ता संजीव रंजन ठाकुर ने लगाया है।उन्होने कहा है कि उक्त बहाली में बड़े पैमाने पर फर्जी प्रमाण पत्र लेखापाल पद पर नियुक्ति की गई है।जिसमे आवेदकों ने मेधा सूची में अपने नाम अधिक अंक दिखाकर एवं गलत अनुभव प्रमाण पत्र ऑनलाइन संलग्न कर सूची में अपने नाम का वरीयता अंक प्राप्त किया गया है।

आरटीआई कार्यकर्ता ने कहा कि जिला कृषि विभाग ऐसे दर्जनों बहाली फर्जी अंक प्रमाण पत्र,अनुभव प्रमाण पत्र (सरकारी विभाग का अनुभव प्रमाण पत्र) के आधार पर की गयी है।उन्होने बताया कि 05 जुलाई 22 को जिला कृषि पदाधिकारी से सूचना के अधिकार के तहत सूचना मांगी गई कि लेखापाल प्रशांत कुमार प्रतिनियुक्त आत्मा कार्यालय पूर्वी चम्पारण के द्वारा बहाली के समय आवेदन (ऑनलाइन)के साथ संलग्न शैक्षिणिक प्रमाण पत्रों,अनुभव प्रमाण पत्रों, काउंसिलिंग सूची, मेधा सूची, चयनित सूची एवं नियोजन की गाईड लाईन की सत्यापित कॉपी उपलब्ध कराई जाय लेकिन अब तक लोक सूचना अधिकारी सह कृषि अधिकारी ने जानकारी उपलब्ध नहीं कराई। जिसके बाद प्रथम अपीलीय प्राधिकार सह संयुक्त निदेशक, तिरहुत प्रमंडल कृषि मुज़फ्फरपुर के यहां 05 अगस्त 22 को अपील की गई है लेकिन, विडंबना है कि अभी तक सूचना तय समय पर उपलब्ध नहीं करायी गई हैं।

जिला कृषि पदाधिकारी चंद्रदेव प्रसाद ने बताया कि यह मामला मेरे कार्यकाल के पूर्व का है।और कोई भी बिना एक्सपर्ट जांच किये नही होती है।मेरे समझ से मेरे पूर्व के अधिकारी जो भी किये होगे वो बिल्कुल सही होगा।ऐसे मे इस आरोप का कोई आधार नही है।

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