बिजनेस

सरकारी तेल कंपनियों को पहली तिमाही में 18,480 करोड़ रुपये का नुकसान

नई दिल्ली, 07 अगस्त। सार्वजनिक क्षेत्र की तेल एवं गैस विपणन कंपनियों को वित्त वर्ष 2022-23 की पहली तिमाही (अप्रैल-जून) में 18,480 करोड़ रुपये का घाटा हुआ है। सार्वजनिक क्षेत्र की तीनों प्रमुख पेट्रोलियम कंपनियों ने रेग्युलेटरी फाइलिंग में यह जानकारी दी है।

इसके मुताबिक लागत मूल्य बढ़ने के बावजूद पेट्रोल और डीजल के दाम स्थिर रखने की वजह से इंडियन ऑयल, हिंदुस्तान पेट्रोलियम और भारत पेट्रोलियम को रिकॉर्ड घाटा हुआ है। सार्वजनिक क्षेत्र की पेट्रोलियम कंपनियों ने शेयर बाजार को बताया कि उसको कुल 18,480 करोड़ रुपये का नुकसान उठाना पड़ा है। दरअसल पिछले कुछ समय से पेट्रोल-डीजल के खुदरा भाव स्थिर है। इसके चलते इन कंपनियों को घाटा हो रहा है, जो किसी भी तिमाही में अबतक का रिकॉर्ड घाटा है।

सार्वजनिक क्षेत्र की तीनों तेल कंपनियों ने रेग्लुरेटरी फाइलिंग में बताया है कि जून तिमाही में पेट्रोल-डीजल के दाम नहीं बढ़ाने से उनका घाटा बहुत बढ़ गया है। ऐसा इन कंपनियों के मार्केट मार्जिन में गिरावट आने से हुआ है। दरअसल पेट्रोल-डीजल के अलावा घरेलू रसोई गैस (एलपीजी) के मार्केट मार्जिन में कमी आने से इन कंपनियों को पहली तिमाही में भारी रिफाइनिंग मार्जिन भी नुकसान से नहीं बचा पाया है।

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