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 मप्र : कूनो में बड़े बाड़े में छोड़ने के बाद दोनों चीतों ने किया अपना पहला शिकार

श्योपुर, 7 नवंबर। मध्य प्रदेश के कूनो राष्ट्रीय उद्यान के बड़े बाड़े में छोड़े गए दो चीतों ने 48 घंटे के अंदर ही अपना पहला शिकार कर लिया है। दोनों सगे भाई चीतों ने एक चीतल का शिकार किया है। विभाग की मानें तो अन्य चीतों को भी बड़े बाड़े में छोड़ने के संबंध में जल्द ही निर्णय लिया जा सकता हैं।

डीएफओ प्रकाश कुमार वर्मा ने सोमवार ने बताया कि शनिवार को दो चीतों को बड़े बाड़े में छोड़ा गया था, इस पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने ट्वीट कर इनका वीडियो शेयर किया था। अभी छह चीते छोटे बाड़े में ही हैं, जिन्हें जल्द ही दूसरे बड़े बाड़ों में छोड़ा जा सकता है। चीतों को कूनो नेशनल पार्क में अपना पहला शिकार किए जाने से यह माना जा रहा है कि उन्हें यह स्थान रास आ गया है। उन्होंने बताया कि शिकार करने की पहली तस्वीर सीसीटीवी कैमरे में देखी गई है। दोनों चीते स्वस्थ हैं। वे बड़े बाड़े में घूम रहे हैं। कॉलर आईडी, सीसीटीवी और ट्रैप कैमरों से टीम लगातार उन पर नजर रख रही है। कूनो डीएफओ वर्मा ने बताया कि सीसीटीवी कैमरों में रात में शिकार करने की हलचल दिखाई दी थी, जिसके बाद निगरानी दल सुबह पांच बजे उसी जगह पहुंचा था, वहां चीतल के अवशेष मिले। यह चीतों यहां के माहौल में ढलने को लेकर बड़ी खुशखबरी है।

उल्लेखनीय है कि अफ्रीका के नामीबिया से 17 सितंबर को 8 चीते कूनो राष्ट्रीय उद्यान में लाए गए थे। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इन्हें छोटे बाड़े में छोड़ा था। यहां चीतों को क्वारंटाइन किया गया। बाद में करीब 50 दिन बाद शनिवार को दो नर चीतों को बड़े बाड़े में छोड़ा गया था। चीता टास्क फोर्स की बैठक में सहमति के बाद चीतों को छोड़ा गया था। बड़े बाड़े में हिरण और चीतल जैसे जानवर मौजूद हैं।

कूनो प्रबंधन के अनुसार उद्यान में चीतों के लिए बनाए गए बड़े-बड़े में जब इन चीतों को छोड़ा गया, वह पहले तो डरे सहमे से दिखाई दिए, क्योंकि एक लंबी अवधि के बाद उन्हें बड़े मैदान में जाने का मौका मिला था, लेकिन थोड़ी देर बाद ही दोनों नर चीते जैसे ही बड़े-बाड़े में गए तो वे वहां उछलकूद करते नजर आए। इससे माना जा रहा है कि चीतों को यहां का वातावरण पूरी तरह से रास आ गया है। यहां लाए गए सभी चीते पूरी तरह से स्वस्थ नजर आ रहे हैं। विभागीय अधिकारियों के अनुसार चरणबद्ध तरीके से बाकी चीतों को भी जल्द छोड़ा जाएगा।

विशेषज्ञों का अनुमान था कि लगभग डेढ़ माह तक बंद छोटे बाड़े में मांस खा रहे चीते अपनी शैली के अनुसार शिकार कर भोजन करने के लिए आतुर दिखेंगे। सोमवार सुबह विशेषज्ञों ने राहत की सांस ली, जब चीतों के एक चीतल के शिकार कर मांस खाने की जानकारी मिली।

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