आर्किटेक्ट व डेकोर के क्षेत्र में शोध को बढ़ावा देना जरूरी: बनवारी लाल पुरोहित
पीएचडीसीसीआई का आठवां इंस-आउट आर्किबिल्ड शुरू
चंडीगढ़, 16 सितंबर। पंजाब के राज्यपाल एवं चंडीगढ़ के प्रशासक बनवारी लाल पुरोहित ने कहा है कि इमारत निर्माण के क्षेत्र में आर्किटेक्ट (वास्तुकार) व डेकोर की भूमिका सबसे अहम है। इस दिशा में शोध को बढ़ावा दिए जाने की जरूरत है।
पुरोहित शुक्रवार को सेक्टर-17 स्थित परेड ग्राउंड में पीएचडी चैंबर ऑफ कामर्स एंड इंडस्ट्री द्वारा इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ आर्किटेक्ट्स, फायर एंड सेफ्टी एसोसिएशन ऑफ इंडिया तथा अमेरिकन सोसायटी ऑफ हीटिंग एंड एयर कंडीशनिंग इंजीनियर्स के सहयोग से शुरू हुए आठवें चार दिवसीय आर्किबिल्ड (इंस-आउट) का उद्घाटन करने के बाद शहर के प्रबुद्ध नागरिकों को संबोधित कर रहे थे।
आर्किबिल्ड में इस बार का विषय स्मार्ट और टिकाऊ स्थानों की और है। नगर प्रशासक ने कहा कि समूचे विश्व में भारतीय इमारतें बेहतर आर्किटेक्चर का नमूना हैं। उत्तरी भारत में चंडीगढ़ शहर वास्तुकला की सबसे बड़ी उदाहरण है। पुरोहित ने कहा कि ग्लोबल वार्मिंग के दुष्प्रभावों और ऊर्जा की दक्षता के लाभ के बारे में सभी जानते हैं लेकिन उन्हें अपनाने की दिशा प्रयास तेज करने की जरूरत की है।
उन्होंने कहा कि स्मार्ट सिटी में ग्रीन बिल्डिंग की भूमिका बेहद अहम है। कंस्ट्रक्शन का कारोबार आज एक उद्योग का रूप धारण कर चुका है। आर्किटेक्चर ओर बिल्डिंग निर्माण से जुड़े लोगों को चाहिए कि वह अपनी योजनाएं बनाये जिससे अंतिम पायदान पर खड़े व्यक्ति को रहने के लिए छत मिल सके।
इससे पहले राज्यपाल का स्वागत करते हुए पीएचडीसीसीआई चंडीगढ़ चैप्टर के चेयर मधुसूदन विज ने कहा कि कंस्ट्रक्शन इंडस्ट्री ने कई छोटे उद्योगों के द्वार खोले हैं। अब समय आ गया है इसमें निवेश को बढ़ावा देकर मजबूती प्रदान की जाए।
पीएचडीसीसीआई के पूर्व अध्यक्ष डॉ.अशोक खन्ना ने कहा कि चैंबर द्वारा इस आयोजन के माध्यम से आर्किटेक्ट्स और इंटीरियर को एक छत तले एकत्र करके शहरीकरण को नई दिशा प्रदान की है। इस अवसर पर चैंबर के सहायक सैकेट्री जनरल नवीन सेठ, आर्किटैक्चर एंड इंटीरियर टास्क फोर्स के चेयरमैन आनंद शर्मा, प्रिंसिपल आर्किटेक्ट सुरिंदर बाघा, चंडीगढ़ चैप्टर के को-चेयर सुव्रत खन्ना समेत कई गणमान्य मौजूद थे।