धान की जगह वैकल्पिक फसल की खेती करने वाले किसानों को दिया जाएगा अनुदान-उपायुक्त सिवाच
– विभाग द्वारा 7 हजार रुपए प्रति एकड़ के हिसाब से अनुदान दिया जाएगा
– मेरा पानी-मेरी विरासत योजना के तहत दिया जाएगा अनुदान
– किसान को मेरा पानी-मेरी विरासत एवं मेरी फसल-मेरा ब्यौरा पोर्टल पर करवाना होगा पंजीकरण
– पंजीकरण के सभी दस्तावेज कृषि विभाग में करवाने होंगे जमा
सोनीपत, 09 जून। उपायुक्त ललित सिवाच ने बताया कि कृषि एवं किसान कल्याण विभाग द्वारा किसानों के कल्याण के लिए क्रियान्वित की जा रही लाभकारी योजना (मेरा पानी-मेरी विरासत) के तहत धान की जगह वैकल्पिक फसल की खेती करने वाले किसानों को 7000 रूपए प्रति एकड़ के हिसाब से अनुदान प्रदान किया जायेगा। इसके लिए किसान को मेरा पानी-मेरी विरासत पोर्टल व मेरी फसल-मेरा ब्योरा पोर्टल पर पंजीकरण करवाना होगा।
उपायुक्त ने बताया कि योजना के तहत इस खरीफ, 2022 के दौरान अपने पिछले वर्षों के खरीफ धान के खेतों में धान को छोडक़र अन्य फसल जैसे कपास, मक्का, अरहर, मूंग, बागवानी/सब्जी, मोठ, उड़द, सोयाबीन, ग्वार, तिल, मूंगफली, खरीफ प्याज और सभी खरीफ चारा फसलों की बिजाई करने वाले किसान भी प्रोत्साहन प्राप्त करने के पात्र होंगे। पिछले खरीफ, 2021 के दौरान एमपीएमवी के तहत फसल विविधीकरण को अपनाने वाले किसान भी इस वर्ष प्रोत्साहन प्राप्त करने के पात्र हैं, यदि वे उसी खेत में धान के बजाय वैकल्पिक फसलों की बिजाई जारी रखते हैं। इस खरीफ, 2022 के दौरान अपने पिछले वर्षों के खरीफ धान के खेतों को खाली रखने वाले किसान भी प्रोत्साहन प्राप्त करने के पात्र होंगे।
कृषि एवं किसान कल्याण विभाग के उप निदेशक डॉ0 अनिल सहरावत ने बताया कि किसान को पंजीकरण के सभी दस्तावेज कृषि विभाग में पटवारी के हस्ताक्षर सहित जमा करवाने होंगे। बाजरे की फसल की बिजाई करने वाले किसान इस योजना के पात्र नहीं होंगे।