जुआं गांव में जलभराव का मामला: भूख हड़ताल पर बैठे ग्रामीणों का स्वास्थ्य जांचने पहुंची विभाग की टीम
सोनीपत
जुआं गांव में जलभराव के मामले को जुआं गांव की पंचायत नंबर 1 से जुड़े ग्रामीणों का धरना प्रदर्शन बुधवार को भी जारी रहा। वहीं लगातार 20 दिनों से अनशन पर बैठे पूर्व सरपंच धर्मबीर व दो अन्य ग्रामीणों की सेहत की जांच के लिए स्वास्थ्य विभाग की टीम धरना स्थल पर पहुंची। स्वास्थ्य विभाग की तरफ से भूखड़ताल पर बैठे ग्रामीणों की जांच करके रिपोर्ट उच्च अधिकारियों को सौंपी है। मामले में प्रशासन की तरफ से ग्रामीणों पर पंप सैंट न चलने के आरोप की बात कही है।
बता दें कि जुआं गांव की पंचायत नंबर 1 से जुड़े ग्रामीण करीब 500 एकड़ भूमि में जलभराव की समस्या से परेशान है। ग्रामीणों के अनुसार खेतों में 3-3 फुट पानी भरा हुआ है। इसकी एक वजह गांव में पानी के प्राकृतिक बहाव को रोकना है। ग्रामीण पानी निकासी के लिए प्राकृतिक बहाव को खोलने की मांग को लेकर 20 दिनों से धरना प्रदर्शन कर रहे है। रोषित ग्रामीणों ने कहा कि प्रशासन उनकी मांगों की लगतार अनदेखी कर रहा है। पानी निकासी न होने की वजह से खरीफ सीजन की फसलें बर्बाद होने की कगार पर है। रबी सीजन की बिजाई हो नहीं पा रही है। ऐेसे में किसानों को लाखों रुपए का आर्थिक नुकसान झेलना पड़ रहा है। ग्रामीण छतर सिंह , सुरत सिंह, महेन्द्र सिंह, रणबीर सिंह, दलबीर उल्देपुर, ने बताया कि प्रशासन से अपील है कि ग्रामीणों की मांगों को जल्द से जल्द पूरा करें। ताकि किसान अपनी अगली फसल को उगाकर खाने का इंतजाम कर सके।
दो माह से प्रशासन से लगा रहे गुहार, नहीं हो रही सुनवाई-
दो माह से गांव के खेतों में जलभराव की स्थिति है। खेतों में जलभराव के कारण फसले बर्बाद होने की कगार पर पहुंच गई है। पानी निकासी के स्थायी समाधान की मांग को लेकर 20 दिनों से ग्रामीणों का धरना प्रदर्शन भी चल रहा है, लेकिन प्रशासन ग्रामीणों की मांगों को अनदेखी कर रहा है। रबी सीजन की बिजाई भी नही हो पाएगी। जब तक पाइप लाइन दबाकर प्राकृतिक बहाव को नही खोला जाता, तब तक समस्या का समाधान नही हो सकता। मांगे पूरी न होने तक ग्रामीणों का संघर्ष जारी रहेगा।
धर्मबीर, पूर्व सरपंच, जुआं पंचायत नंबर 1।
प्रशासन ने पंप हटाएं, ग्रामीणों पर नहीं चलाने का आरोप-
ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि पानी निकासी के लिए प्राकृतिक बहाव खोलने की मांग को लेकर लगातार धरना प्रदर्शन किया जा रहा है। प्रशासन द्वारा पानी निकासी के लिए जो पंप सैट लगाए गए थे, उन्हें भी अब हटा दिया गया है। ग्रामीण पंपों को नहीं चलने दे रहे है। इस संबंध में उच्च अधिकारियों को अवगत करवाया जा चुका है। उच्च अधिकारियों के दिशा-निर्देशों पर आगामी कार्यवाही अमल में लाई जायेगी।