हरियाणा

अधिकतर साइबर हमलों में सामने आ रही मानवीय लापरवाही, सावधान रहें नागरिक : एसपी लोकेंद्र सिंह

एसपी ने सिम कार्ड स्वैपिंग के माध्यम होने वाली धोखाधड़ी के प्रति चेताया

हिसार, 29 मई । पुलिस अधीक्षक लोकेंद्र सिंह ने नागरिकों से आगाह किया है कि वे सिम कार्ड स्वैपिंग के माध्यम होने वाली धोखाधड़ी से सावधान रहें। उन्होंने कहा कि साइबर खतरों के जोखिम को कम करने के लिए टेक्नोलॉजी का उपयोग करते समय हमें सावधान रहना चाहिए।

पुलिस अधीक्षक लोकेन्द्र सिंह ने रविवार को कहा कि उन्नत तकनीकों ने आधुनिक जीवनशैली को बदल दिया है। इंटरनेट हमें कई लाभ प्रदान करता है जिसमें आमजन के लिए बैंकिंग लेन-देन प्रमुख है जिसमे थोड़ी सी चूक से हमें वित्तीय हानि हो सकती है। एक अध्ययन के अनुसार सभी साइबर हमलों में से अधिकतर मानवीय लापरवाही सामने आई है। इसलिए साइबर सुरक्षा के प्रति जागरूकता आज सभी के लिए जरूरी है। पुलिस अधीक्षक ने कहा कि यह एक प्रकार से व्यक्ति की पहचान की चोरी है जहां साइबर अपराधी टेलीकॉम सेवा उपलब्ध करवाने वाले के माध्यम से आपके पंजीकृत मोबाइल नंबर के लिए जारी किए गए पुराने सिम कार्ड की जगह नया सिम कार्ड प्राप्त कर लेते है। नए सिम कार्ड की मदद से साइबर अपराधी पीड़ित के बैंक खाते से वित्तीय लेन-देन के लिए आवश्यक ओटीपी और अन्य गोपनीय जानकारी प्राप्त कर लेते हैं।

पुलिस अधीक्षक ने कहा है कि साइबर अपराधी अपने गिरोह के सदस्य किसी खुदरा विक्रता से एक खाली सिम प्राप्त कर लेते हैं। इसके बाद साइबर अपराधी कस्टमर केयर अधिकारी बनकर पीड़ित को काल करते है और अपने सिम को 4जी या 5जी बदलने को कहते हैं, नहीं तो सिम कार्ड बंद हो जाने के बारे में बताते हैं। सिम स्वैप करने के लिए वे एक सिम नंबर पीड़ित को देते है और उसे यह नंबर कस्टमर केयर अधिकारी को पीड़ित के फोन से फारवर्ड करने के लिए कहते हैं। पीड़ित उसे वास्तविक समझ अपने मोबाइल से सिम नंबर को कस्टमर केयर अधिकारी को फारवर्ड कर देता है। सिम नंबर फारवर्ड करते ही मोबाइल सेवा प्रदाता कंपनी पीड़ित के पुराने सिम को बंद कर उसी नंबर को नए सिम पर जारी कर देता है। इसके बाद साइबर अपराधी पीड़ित के मोबाइल नंबर से पंजीकृत सभी बैंक खातों तक अपनी पहुंच बना लेते हैं और बैंक खातों से अवैध निकासी कर लेते है।

पुलिस अधीक्षक ने आम जन को सावधान करते हुए कहा है कि फोन काल पर कभी भी अपने खाते और सिम से संबंधित कोई भी जानकारी सांझा न करें। सिम के पीछे वर्णित सिम संख्या बहुत महत्वपूर्ण गोपनीय जानकारी होती है। इसके साथ ही यदि आपका मोबाइल नंबर कुछ घंटों के लिए निष्क्रिय व नेटवर्क क्षेत्र से बाहर हो जाता है तो तुरंत इस बारे में अपने मोबाइल ऑपरेटर से पूछताछ करें। अपने बैंकिंग लेन-देन के लिए नियमित एसएमएस के साथ साथ ईमेल अलर्ट के लिए रजिस्टर करें। इस तरह सिम स्वैप होने के पश्चात बैंक से अवैध निकासी होने पर आपको इसकी जानकारी ई मेल के माध्यम से मिल सकती है और आप इसे रोक सकते हैं।उन्होंने कहा कि नागरिक किसी भी प्रकार की साइबर धोखाधड़ी होने पर तुरंत नजदीकी पुलिस थाना और हेल्पलाइन लाइन नंबर 1930 व cybercrime.gov.in पोर्टल पर सूचना दें।

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