भीमा-कोरेगांव हिंसा:गौतम नवलखा को मेडिकल चेकअप के लिए तुरंत अस्पताल ले जाने का आदेश
नई दिल्ली, 29 सितंबर। सुप्रीम कोर्ट ने भीमा कोरेगांव हिंसा के आरोपित गौतम नवलखा को मेडिकल चेकअप के लिए तुरंत अस्पताल ले जाने का आदेश दिया है। जस्टिस केएम जोसेफ की अध्यक्षता वाली बेंच ने तलोजा जेल प्रशासन को निर्देश दिया कि वो गौतम नवलखा की मर्जी के अस्पताल में लेकर जाएं, जहां उनका इलाज हो सके। मामले की अगली सुनवाई 21 अक्टूबर को होगी।
कोर्ट ने इलाज करने वाले अस्पताल को निर्देश दिया कि वो गौतम नवलखा के स्वास्थ्य की पूरी रिपोर्ट कोर्ट में दाखिल करें। कोर्ट ने नवलखा के पार्टनर सहाब हुसैन और बहन मृदुला कोठारी को अस्पताल के नियमों के मुताबिक नवलखा से मिलने की अनुमति दे दी। कोर्ट ने कहा कि नवलखा को तलोजा जेल से स्थानांतरित कर घर में नजरबंद रखने की मांग पर सुनवाई की अगली तिथि को विचार किया जाएगा।
27 सितंबर को कोर्ट ने नवलखा की याचिका पर सुनवाई करते हुए एनआईए और महाराष्ट्र सरकार को नोटिस जारी किया था। सुनवाई के दौरान नवलखा की ओर से कहा गया था कि उनकी उम्र 70 साल है। उनका स्वास्थ्य ठीक नहीं है। खराब स्वास्थ्य के कारण उनको जेल में रखना सही नहीं है। उन्हें पहले भी नजरबंद रखा गया था। नवलखा ने घर में नजरबंद रखने के लिए बॉम्बे हाई कोर्ट में याचिका दायर की थी। हाई कोर्ट ने याचिका खारिज कर दी थी।
आठ अप्रैल, 2020 को सुप्रीम कोर्ट ने गौतम नवलखा और आनंद तेलतुंबडे को सरेंडर करने का आदेश दिया था। एक जनवरी, 2018 को भीमा-कोरेगांव की दो सौवीं सालगिरह पर हुए कार्यक्रम में हिंसा हुई थी। उसमें एक व्यक्ति की मौत हो गई थी और कई लोग घायल हुए थे। इस मामले में पुलिस ने 162 लोगों के खिलाफ 58 केस दर्ज किए हैं।