यस बैंक धोखाधड़ी: मुंबई-पुणे में आठ जगह सीबीआई का छापा, विनोद गोयनका और शाहिद बलवा के ठिकानों की ली गई तलाशी
नई दिल्ली: केंद्रीय जांच एजेंसी सीबीआई यह बैंक धोखाधड़ी मामले में शनिवार को एक बड़ी कार्रवाई की है। एजेंसी ने मुंबई और पुणे में इस मामले से संबंद्ध संदिग्ध लोगों के आठ ठिकानों और कार्यालयों पर छापेमारी की। इस छापेमारी के दौरान यहां से कई दस्तावेज भी जब्त किए गए हैं। गौरतलब है कि हाल ही में सीबीआई ने इस मामले से जुड़े बिल्डर संजय छाबड़िया को भी गिरफ्तार किया था।
छाबड़िया की गिरफ्तारी के बाद छापे: जानकारी के मुताबिक, सीबीआई की अलग-अलग टीमों ने ये कार्रवाई की है। जहां एक ओर पुणे में बिल्डर विनोद गोयनका के ठिकानों पर छापा मारा गया है, तो दूसरी ओर मुंबई में केंद्रीय जांच एजेंसी के अधिकारियों ने शाहिद बलवा और अविनाश भोसले के आवास और कार्यालयों पर तलाशी अभियान चलाया है। सीबीआई ने छाबड़िया की गिरफ्तारी के बाद इस मामले में अपनी कार्रवाई तेज कर दी है। इसका नमूना शनिवार को देखने को मिला है।
कौन हैं शाहिद बलवा-विनोद गोयनका?: यहां बता दें कि देश की प्रमुख रियल एस्टेट कंपनियों में शुमार डीबी रिएल्टी के मैनेजिंग डॉयरेक्टर (एमडी) शाहिद उस्मान बलवा हैं, जबकि विनोद गोयनका इस कंपनी में चेयरमैन हैं। बलवा पर इससे पहले भी कई तरह के आरोप लगाए जा चुके हैं, जबकि स्पेट्रम घोटाले में उसकी गिरफ्तारी भी हो चुकी है। अब यस बैंक धोखाधड़ी के मामले में भी शाहिद बलवा और विनोद गोयनका सीबीआई के निशाने पर आ गए हैं।
गुरुवार को हुआ संजय छाबड़िया अरेस्ट: गौरतलब है कि सीबीआई ने बीते गुरुवार को यस बैंक के संस्थापक राणा कपूर और दीवान हाउसिंग फाइनेंस कॉरपोरेशन लिमिटेड (डीएचएफएल) के खिलाफ भ्रष्टाचार के एक मामले में मुंबई के रियल्टी उद्यमी संजय छाबड़िया को गिरफ्तार किया। रेडियस डेवलपर्स के छाबड़िया को शुक्रवार को विशेष अदालत में पेश किया गया। सीबीआई ने 2020 में डीएचएफएल ने कपूर और कपिल वधावन के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोप में मामला दर्ज किया था। एजेंसी ने आरोप लगाया है कि कपूर ने डीएचएफएल को वित्तीय सहायता देने के लिए वधावन के साथ एक आपराधिक साजिश को अंजा