सामाजिक न्याय डिजिटल नवाचारों का प्रमुख उद्देश्य होना चाहिएः राष्ट्रपति
नई दिल्ली, 07 जनवरी। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने शनिवार को डिजिटल इंडिया अवार्ड्स प्रदान किये। इस दौरान राष्ट्रपति ने कहा कि भविष्य में परिवर्तन की गति काफी तेज होगी और प्रौद्योगिकी के उपयोग से संचालित होगी। इस संदर्भ में सामाजिक न्याय डिजिटल नवाचारों का प्रमुख उद्देश्य होना चाहिए।
राष्ट्रपति मुर्मू ने नई दिल्ली के विज्ञान भवन में सातवें डिजिटल इंडिया अवार्ड्स प्रदान किये। राष्ट्रपति ने कहा कि डिजिटल इंडिया अवार्ड्स 2022 न केवल सरकारी संस्थाओं बल्कि स्टार्टअप्स को भी डिजिटल इंडिया विजन को प्राप्त करने के लिए प्रेरित करते हैं। उन्होंने कहा कि भारत एक ज्ञान आधारित अर्थव्यवस्था के रूप में तभी विकसित होगा जब प्रौद्योगिकी के उपयोग के माध्यम से डिजिटल असमानता को काफी हद तक पाट दिया जाएगा।
उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि भारत ‘डिजिटल अंत्योदय’ की यात्रा में आर्थिक, सामाजिक और सांस्कृतिक अधिकारों को मजबूत कर समाज के कमजोर और हाशिए पर पड़े वर्गों का समावेशन कर एक उदाहरण पेश करेगा। उन्होंने कहा कि भारत लचीली अर्थव्यवस्था और जनकेंद्रित शासन के लिए प्रौद्योगिकी का उपयोग करने वाला एक महत्वपूर्ण देश बन रहा है। भारत के डिजिटल परिवर्तन की कहानी नवाचार, कार्यान्वयन और समावेश की कहानी है।
राष्ट्रपति ने कहा कि भारतीय आईटी कंपनियों ने दुनिया को भारतीय प्रतिभा की कीमत का एहसास कराया है। वर्तमान समय में इन कंपनियों को प्रचलित नीतियों का लाभ उठाना चाहिए और नवीन मेड-इन-इंडिया तकनीकों का निर्माण करना चाहिए। इससे देश सॉफ्टवेयर और हार्डवेयर उत्पादों के लिए वैश्विक पावरहाउस बन पाएगा। उन्होंने कहा कि हमें सभी नागरिकों के जीवन को आसान बनाने के लिए अभिनव समाधान देने के लिए खुद को चुनौती देनी होगी, चाहे वह न्यायपालिका हो, भूमि पंजीकरण हो, उर्वरक हो या सार्वजनिक वितरण प्रणाली हो।
उन्होंने कहा कि पुरस्कार भारत को एक डिजिटल रूप से सशक्त समाज में बदलने की दिशा में एक कदम हैं। एक ऐसा सशक्त समाज जहां डिजिटल प्रशासन के प्रभावी उपयोग से लोगों की क्षमताओं का विकास हो। पुरस्कार विजेताओं को बधाई देते हुए उन्होंने कहा कि लोगों को लाभान्वित करने के लिए किए गए विविध प्रकार के नवाचारों को देखकर उन्हें खुशी हुई। इलेक्ट्रॉनिक्स, सूचना प्रौद्योगिकी, संचार और रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव, इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय में सचिव अलकेश कुमार शर्मा और अन्य गणमान्य व्यक्तियों ने कार्यक्रम में भाग लिया।
पुरस्कारों की सूची इस प्रकार है-
नागरिकों का डिजिटल सशक्तिकरण: ई-एनएएम (कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय) को प्लैटिनम; परिवहन मिशन मोड परियोजना (ई-परिवहन) (सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय) को स्वर्ण; जजमेंट रिसर्च पोर्टल (ई-समिति, भारत का सर्वोच्च न्यायालय) को रजत।
जमीनी स्तर पर डिजिटल पहल : ई-विवेचना ऐप (मध्य प्रदेश) को प्लैटिनम; डीईजीएस कंप्यूटर बेसिक ट्रेनिंग (झारखंड) को स्वर्ण; क्षीरश्री पोर्टल (केरल) को रजत।
ईज ऑफ डूइंग बिजनेस के लिए डिजिटल पहल : विजेता को पुरस्कार; माइन मित्र (उत्तर प्रदेश) को प्लैटिनम; ई-आबकारी (ओडिशा) को स्वर्ण; इन्वेस्ट पंजाब (पंजाब) को रजत।
सामाजिक आर्थिक विकास के लिए डेटा साझा करना और उसका उपयोग: स्मार्ट सिटीज मिशन (आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय) को प्लैटिनम; केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) को गोल्ड; ई-गवर्नेंस केंद्र (कर्नाटक) को रजत।
सार्वजनिक डिजिटल प्लेटफॉर्म- केंद्रीय मंत्रालय, विभाग और राज्य : दुआरे सरकार (पश्चिम बंगाल) को प्लैटिनम; ई-सेवाएं मणिपुर (मणिपुर) को स्वर्ण; आईसीईजीएटीई पोर्टल (वित्त मंत्रालय, राजस्व विभाग) को प्लैटिनम; ईश्रम (श्रम और रोजगार मंत्रालय) को स्वर्ण।
स्टार्टअप्स के सहयोग से डिजिटल पहल : डिजिटल कार्यबल प्रबंधन प्रणाली (केरल) को प्लैटिनम; मृद्धा का स्मार्ट पोषक तत्व प्रबंधन (तेलंगाना) को स्वर्ण; डिजिटल डिपॉजिट रिफंड सिस्टम (उत्तराखंड) को रजत। जीआईजीडब्ल्यू और पहुंच दिशानिर्देशों का अनुपालन करने वाली सर्वश्रेष्ठ वेब और मोबाइल पहल: बिलासपुर जिले की वेबसाइट (छत्तीसगढ़) को प्लैटिनम; कोट्टायम जिले (केरल) की वेबसाइट को स्वर्ण।
भारत सरकार ने देश को डिजिटल रूप से सशक्त समाज और ज्ञान अर्थव्यवस्था में परिवर्तित करने के लिए डिजिटल इंडिया कार्यक्रम की कल्पना की है। डिजिटल इंडिया पुरस्कार (डीआईए) सरकारी संस्थाओं द्वारा सभी स्तरों पर नवाचार डिजिटल पहलों को प्रोत्साहित और सम्मानित करते हैं। डीआईए-2022 का उद्देश्य न केवल सरकारी संस्थाओं को बल्कि स्टार्ट-अप और जमीनी स्तर पर डिजिटल पहलों को प्रेरित और प्रोत्साहित करना है ताकि डिजिटल इंडिया विजन को पूरा किया जा सके।