अनाज मंडी के आढ़ती हड़ताल, विधायक को ज्ञापन देने के बाद मुख्यमंत्री आवास घेराव के लिए हुए रवाना
प्रधान राजेश जैन, सचिव अनिल कौशिक के नेतृत्व में आढ़ती रवाना होते हुए
प्रधान राजेश जैन व सचिव अनिल कौशिक के नेतृत्व में ंहुए आढ़ती रवाना
गन्नौर। अनाज मंडी के आढ़ती अपनी मांगों के समाधान को लेकर अनिश्चित कालीन हड़ताल व विधायक को ज्ञापन देने के बाद तीसरे दिन करनाल में मुख्यमंत्री आवास के घेराव के लिए बस में बैठकर रवाना हुए। आढ़ती एसोसिएशन के प्रधान राजेश जैन, सचिव अनिल जैन के नेतृत्व में आढ़तियों ने चेतावनी है कि अगर सरकार द्वारा उनकी मांगें नहीं मानी गई तो वह पीछे नहीं हटेंगे। आढ़तियों की हड़ताल के कारण तीन दिन से मंडी में धान की खरीद नहीं हुई। किसानों को मालूम था कि आढ़तियों की हड़ताल शुरू तीन दिन से चल रही है। बहुत कम ही किसान मंडी में धान लेकर पहुंच रहे है। आढ़ती महाबीर चिरस्मी, सुरेश बत्रा, धीर सिंह, मुकेश जैन, कृष्ण जैन आदि भी संबोधित किया। मंडी प्रधान राजेश ने बताया कि उनकी प्रदेशस्तरीय एसोसिएशन जो भी निर्णय लेगी, किसानों को अवगत करवा दिया जाएगा। मंडी में धान लेकर आने वाले किसानों की धान तो सुरक्षित उतरवा ली है। लेकिन इस दौरान न तो धान की खरीद हुई और न ही धान बेचने की प्रक्रिया हुई। सचिव अनिल कौशिक ने बताया कि उनकी मांग है कि सभी फसलें आढ़तियों के माध्यम से ही खरीदी जाए। आढ़तियों को पूरी 2.5 प्रतिशत आढ़त मिलनी चाहिए। सरकार द्वारा खरीदी जाने वाली सभी फसलों का भुगतान किसान की इच्छा के अनुसार आढ़ती या स्वयं उसके खाते में किया जाना चाहिए। मार्केटिंग बोर्ड ने ई-नेम लागू करने के आदेश जारी किए हैं। यह प्रक्रिया प्राइवेट बिकने वाली फसलों पर लागू नहीं हो सकती है। सीमांत किसानों को ई-खरीद पोर्टल पर रजिस्टर्ड करने के बाद भी सरकार ने उनकी फसलें नहीं खरीदी हैं, साल 2020 में धान पर मार्केट और फऊ फीस 4 प्रतिशत से घटाकर एक प्रतिशत कर दी थी, लेकिन विभाग ने यह फीस एक प्रतिशत से बढ़ाकर फिर से 4 प्रतिशत कर दी है।