जीवीएम में धूमधाम से मनाया गया विश्व प्राथमिक चिकित्सा दिवस
रोड सेफ्टी विषय पर आयोजित पोस्टर मेकिंग स्पर्धा में सुषमा रही अव्वल
समय पर प्राथमिक चिकित्सा मिलने पर घायलों के प्राणों की हो सकती है रक्षा: डा. सुनीता
सोनीपत, 10 सितंबर। जीवीएम गल्र्ज कालेज में यूथ रैडक्रॉस इकाई व एनएसएस इकाई के संयुक्त तत्वावधान में शनिवार को विश्व प्राथमिक चिकित्सा दिवस धूमधाम से मनाया गया, जिसमें छात्राओं को विशेष रूप से प्राथमिक चिकित्सा के महत्व से अवगत करवाया गया। संस्था के प्रधान डा. ओपी परूथी व प्राचार्या डा. रेनू भाटिया ने सफल आयोजन पर बधाई देते हुए छात्राओं सहित आम जनमानस को प्रोत्साहित किया कि वे प्राथमिक चिकित्सा का प्रशिक्षण अवश्य लें।
विश्व प्राथमिक चिकित्सा दिवस का शुभारंभ प्राचार्या डा. रेनू भाटिया व मुख्य वक्ता मास्टर ट्रेनर डा. सुनीता तथा यूथ रैडक्रॉस इकाई की प्रभारी रेणू पोपली और एनएसएस प्रभारी रूचिका विरमानी ने दीप प्रज्वलित करके किया। इस दौरान रोड सेफ्टी विषय पर पोस्टर मेकिंग स्पर्धा का आयोजन भी करवाया गया, जिसमें बीए तृतीय वर्ष की छात्रा सुषमा ने प्रथम व बीए तृतीय वर्ष की रेनू ने द्वितीय तथा बीए तृतीय वर्ष की ही तनीषा ने तृतीय पुरस्कार प्राप्त किया। बीकॉम द्वितीय वर्ष की छात्रा अंजलि को सांत्वना पुरस्कार से सुशोभित किया गया।
इसके पहले छात्राओं को संबोधित करते हुए प्राथमिक चिकित्सा की प्रशिक्षक डा. सुनीता ने विस्तार से विश्व प्राथमिक चिकित्सा दिवस के आयोजन की जानकारी दी। उन्होंने प्राथमिक चिकित्सा के महत्व से भी अवगत करवाया। उन्होंने कहा कि यदि दुर्घटनाग्रस्त घायलों को समय पर सही प्राथमिक चिकित्सा मिल जाये तो उनके प्राणों की रक्षा हो सकती है। घटनाओं-दुर्घटनाओं व बिमारियों में प्राथमिक चिकित्सा की अपनी अलग भूमिका होती है।
मुख्य वक्ता डा. सुनीता ने छात्राओं को प्रायोगिक रूप में विभिन्न प्रकार की प्राथमिक चिकित्साओं का प्रशिक्षण दिया। उन्होंने हड्डिïयां टूटने पर दी जाने वाली प्राथमिक चिकित्सा के साथ जानकारी दी कि ऐसी स्थिति में मरीज को किस प्रकार से वाहन में अस्पताल तक पहुंचाना चाहिए। यूथ रैडक्रॉस इकाई की प्रभारी रेणू पोपली ने इस दौरान प्राथमिक चिकित्सा के महत्व पर विस्तृत जानकारी दी। साथ ही उन्होंने बताया कि इस अवसर पर छात्राओं के लिए क्विज का आयोजन भी किया गया, जिसमें विशेष रूप से छात्राओं से प्राथमिक चिकित्सा को लेकर सवाल पूछे गए।
जीवीएम की एनएसएस प्रभारी रूचिका विरमानी ने इस मौके पर छात्राओं को प्रोत्साहित किया कि वे प्राथमिक चिकित्सा की जानकारी अधिकाधिक लोगों तक पहुंचायेंं। स्वयं प्रशिक्षण लेकर दूसरों को भी प्रशिक्षित करें। प्राचार्या डा. रेनू भाटिया ने वक्ताओं का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि प्राथमिक चिकित्सा का प्रशिक्षण जीवन में किसी भी समय काम आ सकता है। विभिन्न दुर्घटनाओं व आपदाओं की स्थिति में इसका महत्व और बढ़ जाता है। इस मौके पर विशेष सहयोगी के रूप में कविता सैनी उपस्थित रही। अंत में छात्राओं को शपथ दिलाई गई कि वे आवश्यकता पडऩे पर प्राथमिक चिकित्सा प्रदान करने में पीछे नहीं हटेंगी और ईमानदारी से अपने दायित्व का निर्वहन करेंगी।
-डा. रेनू भाटिया
प्राचार्या
जीवीएम गल्र्ज कालेज